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Articles, Personal Diaries and More

छोटी-छोटी बातों में छिपा सुख
अमेरिका-चीन-पाकिस्तान के साथ हमारी कूटनीति से भरे पड़े लेखों के बीच ये छोटी-छोटी बातें अटपटी लग सकती

इलेक्ट्रॉनिक युग के साथी
बड़े बुजुर्गों ने कह रखा है कि इंसान को समय के साथ चलना चाहिए। सिर्फ सफलता या सहूलियत के लिए ही नहीं

पुरस्कारों का घालमेल
विगत दिवस लोकप्रिय कथाकार मन्नू भंडारी को हिन्दी साहित्य का प्रतिष्ठित व्यास सम्मान प्राप्त हुआ। यह

रीति-रिवाजों में छिपी सामाजिक मानसिकता
दो दशक पूर्व महाराष्ट्र के एक छोटे से शहर भुसावल के मध्यमवर्गीय मोहल्ले में दीपावली के दूसरे दिन सुब

विज्ञापन एक कला है
पूंजीवाद ने अगर किसी एक क्षेत्र को सबसे ज्यादा प्रोत्साहित किया है तो वो है विज्ञापन का क्षेत्र। लेक

घर के अर्थशास्त्र का गणित
घर चलाने के लिए अमूमन अर्थशास्त्र पढ़ने की आवश्यकता नहीं। अर्थशास्त्र के किताबी ज्ञान का पता न होने

हम कैसे भविष्य की कल्पना करते हैं?
चलिए, हम कुछ सवाल पूछते हैं। जवाब देने वालों में बच्चे-बूढ़े, जवान-अधेड़, अमीर-गरीब, शहरी-ग्रामीण, म

मानसिक रोगी से पीड़ित परिवार
स्वस्थ काया जीवन में खुशहाली के लिए परम आवश्यक है। आदिकाल से कहा जा रहा है। यह आज भी उतना ही सच है,

आस्था में समर्पण के साथ शक्ति भी है
भारत को धर्म प्रधान देश कहा जाना चाहिए। कहा भी जाता है। धर्म का स्थान यहां प्रमुख है। फिर भी धर्म की

पुस्तक मेले में जाने के बहाने
मेला हमारी संस्कृति व सभ्यता में पला-बढ़ा शब्द है। सुनते-पढ़ते ही विशेष चित्र आंखों के सामने उतर आता